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Thursday, 22 August 2024

एनएचआई विभाग में बड़े घोटाले का भंडाफोड़

 फर्जी दस्तावेज तैयार करके हो रहा था फर्जी भुगतान 

 कर्मचारी खुद ही बन गए एसडीएम, तहसीलदार और लेखपाल 

जौनपुर ।  एनएचआई विभाग में भारी

फर्जीवाड़ा का मामला सामने आया है। जहां विभागीय कर्मचारी फर्जी दस्तावेज तैयार करके सरकार को करोड़ो रूपयों का चूना लगाते रहे। डीएम ने औचक निरीक्षण करके करीब छह घंटे तक जांच पड़ताल किया। 

   जांच में  चार कर्मचारी इस मामले में लिप्त पाये गये । दो संविदा कर्मचारियों कों बर्खास्त कर दिया गया। अमीन को कलेक्ट्रेट से अटैच कर दिया गया तथा एक प्राथमिक शिक्षक को नोटिस जारी किया गया है। डीएम के अनुसार काकस बनाकर यह फर्जीवाड़ा किया जा रहा था। दुर्भाग्यवश कम्प्यूटर आपरेटर से अनबन होने के कारण इस मामले का भण्डाफोड़ हो गया है। 

    जिलाधिकारी ने संदिग्ध कर्मचारियों का मोबाइल जब्त कर लिया तथा एनएचआई कार्यालय को सील कर दिया है। इस मामले की जांच डीएम कल भी करेगें। कुल कितने रूपये का घोटाला हुआ यह अभी स्पष्ट नही हुआ है। 

  सरकार द्वारा सड़क बनाने के लिए अधिग्रहित की गयी जमीनों का कास्तकारों को मुआवजा एनएचआई विभाग द्वारा दिया जाता है। इस विभाग का मुखिया भू एवं राजस्व अधिकारी को बनाया गया है। इस विभाग के कर्मचारी एसडीएम के फर्जी हस्ताक्षर और मुहर लगाकर खुद दस्तावेज तैयार करके फर्जी कास्तकारों के खाते में पैसा भेजने का काम कर रहे थे। 

     इसकी शिकायत इसी विभाग के कम्प्यूटर आपरेटर ने डीएम से किया था। डीएम ने आज दोपहर करीब दो बजे पूरे लाव लश्कर के साथ एनएचआई कार्यालय पहुंचकर जांच पड़ताल किया। करीब छह घंटे की जांच में पता चला कि विभाग के चार कर्मचारी काकस बनाकर फर्जी दस्तावेज तैयार कर चार लोगों के खाते में पैसा ट्रांसफर किया है। 

     जिलाधिकारी रविन्द्र कुमार मांदड़ ने बताया कि मुझे शिकायत मिली थी कि एनएचआई कार्यालय में फर्जी पेमेंट किया जा रहा है, मैने इसकी बारीकी से जांच किया, जांच में संदिग्ध ट्रांजेक्शन और पत्रावलिया मिली जो तहसीलों से नही आयी है जो यहां पर बनायी गयी है। इस फर्जी वाड़ा में तीन कर्मचारी संतोष तिवारी, हिमांशू , और कलर्क अनिल शामिल पाये गये तथा इनके साथ प्राथमिक शिक्षक राहुल सिंह भी संलिप्त पाये गये है। राहुल का कार्यालय स्टाफ से चैट्स व अन्य साक्ष्य मिला है। कल सभी को पुनः कार्यालय पर बुलाया गया है। एक दो दिन में जांच करेगें। प्रभारी अधिकारी सीआरओं को निर्देश दिया गया है कि अमीन शासकीय अधिकारी है उन्हे कलेक्ट्रेट वापस भेजा जाय, दो संविदा कर्मचारियों की संविदा समाप्त किया गया तथा प्राथमिक शिक्षक राहुल सिंह को नोटिस जारी किया गया है।

     कल इस मामले की पुनः जांच किया जायेगा। डीएम ने माना कि उपरोक्त लोगों  ने एसडीएम की फर्जी मुहर, फर्जी हस्ताक्षर बनाकर तीन फाइल तैयार किया है। डीएम ने कहा कि शिकायतकर्ता कम्प्यूटर आपरेटर भी संदिग्ध है ये लोग काकस बनाकर यह कार्य कर रहे थे जिसके कारण यह मामला खुल गया। डीएम ने कहा कि इस मामले में बड़े अधिकारी की जांच किया जायेगा।

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